सरस्वती सम्मान से सम्मानित व्यक्ति (1991 से 2023 तक)
सरस्वती सम्मान क्या है?
सरस्वती सम्मान के. के. बिड़ला फ़ाउंडेशन द्वारा दिया जाने वाला साहित्य पुरस्कार है। यह सम्मान प्रतिवर्ष भारतीय संविधान की आठवीं अनुसूची में शामिल भाषाओं के भारतीय लेखकों की पिछले 10 सालों में प्रकाशित साहित्यिक कृति को पुरस्कृत किया जाता है।
सरस्वती सम्मान का संछिप्त विवरण
पुरस्कार का वर्ग | साहित्य |
स्थापना वर्ष | 1991 |
पुरस्कार राशि | 15 लाख रुपये |
प्रथम विजेता | हरिवंश राय बच्चन |
आखिरी विजेता | रामदरश मिश्र (2022) |
सरस्वती सम्मान
हाल ही में, हिन्दी लेखक “प्रो. रामदर्श मिश्रा" को उनके कविता संग्रह 'मैं तो यहां हूं' के लिए 7 अप्रैल, 2022 को 2021 के लिए सरस्वती सम्मान से सम्मानित किया गया। पुरस्कार में पंद्रह लाख रुपये, एक प्रशस्ति पत्र और एक पट्टिका है. केके बिड़ला फाउंडेशन द्वारा 1991 में स्थापित सरस्वती सम्मान को देश में सबसे प्रतिष्ठित और सर्वोच्च साहित्यिक पुरस्कार के रूप में मान्यता प्राप्त है|
सरस्वती सम्मान की विशेषताएं और महत्वपूर्ण तथ्य:
- सरस्वती सम्मान में शाल, प्रशस्ति पत्र, प्रतीक चिह्न और पंद्रह लाख रुपये की सम्मान राशि दी जाती है।
- सरस्वती सम्मान का आरंभ 1991 में किया गया था।
- पहला सरस्वती सम्मान हिंदी के साहित्यकार डॉ. हरिवंश राय बच्चन को उनकी चार खंडों की आत्मकथा के लिए दिया गया था।
- डोगरी की साहित्यकार पद्मा सचदेव को वर्ष 2015 का प्रतिष्ठित सरस्वती सम्मान उनकी आत्मकथा चित्त-चेत के लिए दिया गया।
- सरस्वती सम्मान वर्ष 2016 के लिए कोंकणी के जाने-माने साहित्यकार महाबलेश्वर सैल को चुना गया था। उनके उपन्यास 'हाउटन' के लिए उनको यह सम्मान दिया था।
- 27 अप्रैल, 2018 को प्रसिद्ध गुजराती कवि सीतांशु यशसचंद्र को साल 2017 के 27वें सरस्वती सम्मान के लिए चुना गया था। सीतांशु यशसचंद्र को यह सम्मान उनके कविता संग्रह ‘वखार’ के लिए दिया जाएगा। वर्ष 2009 में इस पुस्तक का प्रकाशन हुआ था।
- 10 अप्रैल, 2019 को प्रसिद्ध तेलुगू कवि डॉ.के. शिवा रेड्डी को वर्ष 2018 के 28वें सरस्वती सम्मान के लिए चुना गया है, उन्हें यह सम्मान उनके काव्य संग्रह ‘पक्की ओत्तिगिलिते’के लिए दिया जाएगा। जिसका प्रकाशन वर्ष 2016 में हुआ था।
- 16 जनवरी 2020 में प्रसिद्ध सिंधी लेखक वासदेव मोही को 29वें सरस्वती सम्मान से सम्मानित किया गया, उन्हें यह सम्मान उनकी प्रसिद्ध सिंधी भाषी कहानी "चेक बुक" के लिए दिया गया है।
वर्ष 1991 से 2023 तक सरस्वती सम्मान विजेताओं की सूची:
वर्ष | साहित्यकार का नाम | कृति/उपन्यास/काव्य |
2021/2022 | रामदरश मिश्र | मैं तो यहां हूं (कविता संग्रह) |
2020 | डॉ. शरणकुमार लिंबाले | सनातन |
2019 | वासदेव मोही | चेक बुक (सिंधी भाषी कहानी) |
2018 | के शिव रेड्डी | पक्की ओत्तिगिलिते (कविता संग्रह) |
2017 | शीतांशु यशचंद्र | वाकहार (कविता संग्रह) |
2016 | महाबलेश्वर सैल | हाउटन (उपन्यास) |
2015 | पद्मा सचदेव | चित्त-चेत (आत्मकथा) |
2014 | वीरप्पा मोइली | कन्नड़ |
2013 | गोविन्द मिश्र | हिन्दी |
2012 | सुगत (सुगथा) कुमारी | मलयालम |
2011 | ए.ए. मानवालन | तमिल |
2010 | एस.एल. भैरप्पा | उपन्यास 'मंद्र' (कन्नड़) |
2009 | सुरजीत पातर | लफ्जों दी दरगाह |
2008 | लक्ष्मी नंदन बोरा | असमी |
2007 | नैयर मसूद | उर्दू |
2006 | जगन्नाथ प्रसाद दास | उड़िया |
2005 | प्रो. के अयप्पा पणिकर | मलयालम |
2004 | सुनील गंगोपाध्याय | बांग्ला |
2003 | प्रो. गोविन्द चंद्र पांडे | संस्कृत |
2002 | महेश एलकुंचवार | मराठी |
2001 | दलीप कौर तिवाना | पंजाबी |
2000 | मनोज दास | उड़िया |
1999 | इंदिरा पार्थसारथी | तमिल |
1998 | प्रो. शंख घोष | बांग्ला |
1997 | मनुभाई पंचोली 'दर्शक' | गुजराती |
1996 | शम्सुर्रहमान फारूकी | उर्दू |
1995 | बालमणि अम्मा | मलयालम |
1994 | हरिभजन सिंह | पंजाबी |
1993 | विजय तेंदुलकर | मराठी |
1992 | रमाकांत रथ | उड़िया |
1991 | हरिवंश राय बच्चन | आत्मकथा (हिन्दी) |
सरस्वती सम्मान प्रश्नोत्तर (FAQs):
सरस्वती सम्मान से सम्मानित प्रथम भारतीय विजेता श्री हरिवंश राय बच्चन थे। हरिवंश हिन्दी भाषा के एक कवि और लेखक थे। उनकी सबसे प्रसिद्ध कृति मधुशाला है। भारतीय फिल्म उद्योग के प्रख्यात अभिनेता अमिताभ बच्चन उनके सुपुत्र हैं। उनकी मृत्यु 18 जनवरी 2003 में सांस की बीमारी के वजह से मुंबई में हुई थी।
सरस्वती सम्मान से सम्मानित सुगत कुमारी मलयालम भाषा की प्रसिद्ध कवयित्री है। वे दक्षिण भारत के केरल राज्य से पर्यावरण और नारीवादी आंदोलनों के मामले में अग्रणी भूमिका निभाने वाली एक प्रखर महिला है। इनके द्वारा रचित एक कविता–संग्रह रात्रिमळ के लिये उन्हें सन् 1978 में साहित्य अकादमी पुरस्कार से सम्मानित किया गया। सन 2006 में उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया गया।
के. के. बिड़ला फाउंडेशन द्वारा सरस्वती सम्मान पुरस्कार दिया जाता है। के. के. बिड़ला फाउंडेशन की स्थापना सन् 1991 में कृष्णकुमार बिड़ला ने की थी। इसका उद्देश्य साहित्य (विशेष रूप से हिन्दी साहित्य) और कलाओं के विकास को प्रोत्साहित करना है। इसके साथ ही यह शिक्षा एवं सामाजिक कार्य के क्षेत्र में भी काम करता है।
सरस्वती सम्मान पुरस्कार की राशि 15 लाख रूपये होती है। इसके अतिरिक्त सम्मान समारोह में एक शाल, प्रशस्ति पत्र और प्रतीक चिह्न भी दिया जाता है। यह सम्मान प्रतिवर्ष भारतीय संविधान की आठवीं अनुसूची में दर्ज भाषाओं की में प्रकाशित उत्कृष्ट साहित्यिक कृति को दिया जाता है।
सरस्वती सम्मान पुरस्कार की स्थापना वर्ष 1991 में की गई थी। और इसके पहले विजेता श्री हरिवंश श्री हरिवंश राय बच्चन थे। उन्हें उनकी चार खंडों की आत्मकथा के लिए यह पुरस्कार दिया गया था।
साहित्य के क्षेत्र में सरस्वती सम्मान पुरस्कार दिया जाता है। यह सम्मान प्रतिवर्ष भारतीय संविधान की आठवीं अनुसूची में दर्ज भाषाओं की में प्रकाशित उत्कृष्ट साहित्यिक कृति को दिया जाता है।
डोगरी की साहित्यकार पद्मा सचदेव को वर्ष 2015 का प्रतिष्ठित सरस्वती सम्मान उनकी आत्मकथा चित्त-चेत के लिए दिया गया था।
साहित्य के क्षेत्र में सरस्वती सम्मान पुरस्कार दिया जाता है। यह सम्मान प्रतिवर्ष भारतीय संविधान की आठवीं अनुसूची में दर्ज भाषाओं की में प्रकाशित उत्कृष्ट साहित्यिक कृति को दिया जाता है।