इस अध्याय के माध्यम से हम जानेंगे प्रतिभा राय (Pratibha Ray) से जुड़े महत्वपूर्ण एवं रोचक तथ्य जैसे उनकी व्यक्तिगत जानकारी, शिक्षा तथा करियर, उपलब्धि तथा सम्मानित पुरस्कार और भी अन्य जानकारियाँ। इस विषय में दिए गए प्रतिभा राय से जुड़े महत्वपूर्ण तथ्यों को एकत्रित किया गया है जिसे पढ़कर आपको प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने में मदद मिलेगी। Pratibha Ray Biography and Interesting Facts in Hindi.
प्रतिभा राय के बारे में संक्षिप्त जानकारी
नाम | प्रतिभा राय (Pratibha Ray) |
जन्म की तारीख | 21 जनवरी 1944 |
जन्म स्थान | अलाबोल, बालिकुड़ा, जगतसिंहपुर, ओड़िशा |
पिता का नाम | परशुराम दास |
उपलब्धि | 1991 - मूर्ति देवी पुरस्कार प्राप्त करने वाली प्रथम भारतीय महिला |
पेशा / देश | महिला / लेखक / भारत |
प्रतिभा राय (Pratibha Ray)
प्रतिभा राय ओड़िया भाषा की एक मशहूर लेखिका हैं। उन्होंने अपने उपन्यासों के माध्यम से सामाजिक अन्याय और भष्ट्राचार के विरुद्ध आवाज़ बुलंद की। उन्होंने विभिन्न राष्ट्रीय साहित्यिक और शैक्षिक सम्मेलनों में भाग लेने के लिए भारत के अंदर बहुत बड़े पैमाने पर यात्रा की है। इनको 2011में 47वें ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित किया गया है।इनके अब तक 20 उपन्यास, 24 लघुकथा संग्रह, 10 यात्रा वृत्तांत, दो कविता संग्रह और कई निबंध प्रकाशित हो चुके हैं।
प्रतिभा राय का जन्म
प्रतिभा राय का जन्म 21 जनवरी 1943 में जगतसिंहपुर जिले के बालीकुडा क्षेत्र के एक गाँव में हुआ था।
प्रतिभा राय का करियर
इनका पहला उपन्यास ‘वर्षा बसंत बैशाख" है। जो 1974 में प्रकाशित हुआ था उन्होंने अपने विवाह के बाद भी अपने लेखन कैरियर को जारी रखा उसने एक स्कूल शिक्षक के रूप में अपने पेशेवर करियर की शुरुआत की, और बाद में उसने तीस साल तक ओडिशा के विभिन्न सरकारी कॉलेजों में पढ़ाया। उसने डॉक्टरेट अनुसंधान का मार्गदर्शन किया है और कई शोध लेख प्रकाशित किए हैं। उन्होंने राज्य सरकार सेवा से शिक्षा के प्रोफेसर के रूप में स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति ली और ओडिशा के लोक सेवा आयोग के सदस्य के रूप में शामिल हुईं। इन्होंने विभिन्न राष्ट्रीय साहित्यिक और शैक्षिक सम्मेलनों में भाग लेने के लिए भारत के अंदर बड़े पैमाने पर यात्रा की है। उन्होंने 1986 में ISCUS द्वारा प्रायोजित एक सांस्कृतिक आदान-प्रदान कार्यक्रम में यूएसएसआर के पांच गणराज्यों का दौरा किया। उन्होंने 1994 में इंडियन काउंसिल फॉर कल्चरल रिलेशंस, नई दिल्ली द्वारा प्रायोजित "इंडिया टुडे 94" में भारत मेले में एक भारतीय लेखक के रूप में भारत का प्रतिनिधित्व किया।
प्रतिभा राय के बारे में अन्य जानकारियां
उपन्यास, लघु कथाएँ, बाल कहानियाँ, आत्मकथा, अनुवाद सहित कई खंडों में गीतों की रचनाएँ प्रतिभा राय ने की हैं। इनका पहला उपन्यास "वर्षा बसंत बैशाख" है। उड़ीसा की बोंडा पहाड़ियों के बोंडा जनजाति पर उनके नृशास्त्रीय अध्ययन को "अधिभूमि" नाम से प्रकाशित किया गया है। इसे नृशास्त्रीय अध्ययन पर एक श्रेष्ठ कृति माना जाता है। उनका उपन्यास "मगनमति" 1999 के चक्रवात पर आधारित है। डॉ. प्रतिभा राय के 20 उपन्यास, 24 लघुकथा संग्रह, 10 यात्रा वृतांत, दो कविता संग्रह और कई निबंध प्रकाशित हुए हैं। इसमें "यज्ञनासैनी", "शिल पदम", "महामोह", "उत्तर मार्ग" और "द्रोपदी" प्रमुख हैं। प्रतिभा राय की प्रमुख रचनाओं का देश की प्रमुख भाषाओं में और अंग्रेज़ी सहित दूसरी विदेशी भाषाओं में भी अनुवाद हुआ है।
प्रतिभा राय के पुरस्कार और सम्मान
प्रतिभा राय सर्वप्रथम 1988 में "झंकार पुरस्कार" पुरस्कार से नवाजा गया था जिसके बाद वर्ष 1990 में ओडिशा साहित्य का सर्वोच्च सारला दास पुरस्कार से नवाजा गया डॉ. प्रतिभा राय को वर्ष 1991 में उनके उपन्यास ‘यज्ञनासैनी" के लिए मूर्तिदेवी पुरस्कार दिया गया था। वे इस पुरस्कार को जीतने वाली पहली महिला हैं। उड़िया उपन्यास "शिलापदम" के लिए प्रतिभा राय को "ओड़ीसा साहित्य अकादमी पुरस्कार" (1986) प्रदान किया गया था। उसी उपन्यास का हिन्दी रूपान्तर "कोणार्क" के रूप में प्रस्तुत हुआ है। केरल स्थित "अमृता कृति पुरस्कार" वर्ष 2006 में दिया गया वर्ष 2000 में लघुकथा संग्रह "उल्लंघन" के लिए प्रतिभा राय को "साहित्य अकादमी पुरस्कार" से और वर्ष 2007 में "पद्मश्री" से सम्मानित किया गया था। और वर्ष 2011 के लिए 47वें "ज्ञानपीठ पुरस्कार" से 22 मई, 2013 को सम्मानित किया गया। राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने नई दिल्ली स्थित संसद भवन के पुस्तकालय भवन के बालयोगी सभागार में आयोजित कार्यक्रम में प्रतिभा राय को यह पुरस्कार प्रदान किया।
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व्यक्ति | उपलब्धि |
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